अभक्तों ने मिलकर फिर से स्वांग रचाया है चुनाव आते ही फिर से प्रहसन बनाया है
मंचन में पुरुषोत्तम की मर्यादा मर्दन का दृश्य लगाया है
और तो और अपने ओजस्वी संवादों में मंदिर को रोटी से बड़ा बताया है..
अरुण साथी 3/11/18
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